मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा – प्रधानमंत्री की सुरक्षा मामले में निजी चैनल पर किए खुलासे से खुली पंजाब सरकार की पोल,दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की भी की मांग
5 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में चूक मामले में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने एक निजी चैनल में किए गए खुलासे का जिक्र करते हुए कहा है कि अब यह साफ हो गया है कि यह पूरा वाक्या एक संयोग नहीं बल्कि पूरी साजिश का स्वरूप था ,अचानक नहीं बल्कि पूर्व नियोजित था, षड्यंत्र था और कुदरती नहीं था। उन्होंने कहा कि ये सहज नहीं बल्कि प्रायोजित था। शिमला में आज एक पत्रकार वार्ता के दौरान जयराम ठाकुर ने कहा कि निजी चैनल पर एसएचओ और डीएसपी सीआईडी को जिन लोगों ने भी सुना उससे अनायास ही साजिश का अंदाजा लगाया जा सकता है। इस पूरे खुलासे के मुताबिक डीएसपी और एसएचओ ने प्रधानमंत्री के रूट पर रुकावट की जानकारी उच्चाधिकारियों को पहले ही दे दी थी लेकिन पुलिस के उच्चाधिकारियों और राज्य सरकार ने इस मामले में कोई कदम नहीं उठाया और इससे साफ होता है कि सरकार की मिलीभगत के चलते ही यह साजिश रची गई थी ।रिपोर्ट में खुलासा किया गया है कि पंजाब सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की बल्कि मूकदर्शक बनी रही। पुलिस का साफ कहना है कि ऊपर से यानी पंजाब सरकार की ओर से प्रदर्शनकारियों के खिलाफ किसी भी तरह की कार्यवाही ना करने के निर्देश दिए गए थे। मुख्यमंत्री ने इस पूरे वाक्ये पर पंजाब की कांग्रेस सरकार की कड़े शब्दों में निंदा की है ।उन्होंने कहा कि वायरल वीडियो के मुताबिक प्रदर्शनकारी चाय पी रहे हैं और पुलिस वालों को चाय पिला रहे हैं उस दृश्य से पंजाब सरकार की मिलीभगत साफ नजर आ रही है । प्रधानमंत्री को रोकने की तैयारी के बारे में अधिकारियों को बताया गया था लेकिन उसके बावजूद अपेक्षित कार्रवाई नहीं की गई । यहाँ तक कि प्रदर्शनकारियों को घटनास्थल से हटाना तो दूर फ्लाईओवर के नीचे शराब की दुकानें खुली थी । उन्होंने कहा कि फ्लाईओवर पाकिस्तानी सीमा से केवल 10 किलोमीटर की दूरी पर था और मारक क्षमता वाले हथियारों की जद्द में था ऐसे में 20 मिनट तक उस फ्लाईओवर पर प्रधानमंत्री के काफिले का रुकना उनकी जान के लिए खतरा भी हो सकता था । जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रोटोकॉल के मुताबिक मुख्यमंत्री ,मुख्य सचिव और डीजीपी को प्रधानमंत्री की अगुवाई करनी चाहिए थी लेकिन इनमें से कोई भी वहां मौजूद नहीं था । पंजाब के मुख्यमंत्री पहले कोरोना संक्रमित के संपर्क में आने के चलते प्रधानमंत्री के काफिले की अगुवाई ना करने की बात करते हैं और बाद में पत्रकार वार्ता करते हैं और वह भी बिना मास्क के जिससे साफ पता चलता है कि इसमें मुख्यमंत्री भी बराबर के शरीक हैं । जयराम ठाकुर ने कहा कि जांच का दौर चल रहा है और इसका दौर पूरा होने के बाद दोषियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जानी चाहिए । जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विश्व के सबसे लोकप्रिय और मजबूत नेता है और उनकी सुरक्षा में पंजाब सरकार का लापरवाही पूर्ण यह रवैया दुर्भाग्यपूर्ण है ।उन्होंने भरोसा जताया कि पूरा देश प्रधानमंत्री के साथ भावनात्मक रूप से खुद को जुड़ा हुआ महसूस करता है ।जयराम ठाकुर ने कहा कि 5 जनवरी का दिन पंजाब के लिए बेहद महत्वपूर्ण था और यहां करीब 42000 करोड रुपए के शिलान्यास और उद्घाटन होने थे ।