शिमला के कोटी में 2014 से लटके कॉलेज निर्माण मामले में किसान सभा हुई सुर्ख , कहा,9 मई को सांकेतिक धरना, फिर होगा शिक्षा निदेशक का घेराव
2014 में शिमला ज़िला के कुसुम्पटी विधानसभा क्षेत्र के कोटी में महाविद्यालय का निर्माण कार्य शुरू किया गया था । औपचारिकता के लिए नींव तो खोद दी परन्तु काम उससे आगे नहीं बढ़ पाया ।सरकार के इस रवैए से घर द्वार पर उच्च शिक्षा ग्रहण करने के सपने संजोय युवाओं में खास नाराज़गी है । वहीं प्रदेश किसान सभा ने भी इस मामले में सरकार की काफी आलोचना की है । सभा ने सरकार के ढुलमुल रवैए पर कटाक्ष करते हुए कहा है कि इस मामले में ‘नौ दिन चले अढ़ाई कोस’ का मुहावरा कसुंपटी विधानसभा क्षेत्र के विकास की रफ्तार पर एकदम सटीक बैठता है। इसका प्रत्यक्ष उदाहरण 2014 में घोषित हुए कोटी कॉलेज के भवन के निर्माण की प्रगति है जहां 8 सालों में मात्र नींव रखी गई है। कॉलेज अभी भी स्कूल भवन में चल रहा है। कॉलेज में अभी इस कॉलेज में लगभग डेढ़ सौ बच्चे पढ़ रहे हैं लेकिन भवन न बनने के कारण और विज्ञान विषय के अभाव में बच्चों को मजबूरन शिमला या सोलन जाना पड़ता है। वहीं स्थानीय लोगों का कहना था कि अगर कॉलेज का भवन जल्दी न बना तो कोटी कॉलेज में अगले सत्र में दाखिला गिर सकता है और बच्चों की संख्या कम हो सकती है।
सालों से अधर में लटके भवन निर्माण से आहत किसान सभा ने 9 मई को कोटी कॉलेज भवन के सुस्त रफ्तार निर्माण के खिलाफ प्रदर्शन करने का फैसला लिया है। किसान सभा के कसुंपटी इकाई के सचिव जयशिव सिंह ठाकुर ने कहा कि 9 मई का प्रदर्शन सांकेतिक होगा अगर भवन निर्माण प्रक्रिया जल्दी शुरू न हुई तो 15 दिन के बाद निदेशक शिक्षा के कार्यालय पर धरना दिया जाएगा।
9 मई के प्रदर्शन को लेकर किसान सभा ने कसुंपटी क्षेत्र की पंचायतों में पर्चा बांट कर प्रचार किया और जनता से प्रदर्शन में शामिल होने की अपील की।