प्रदेश में रज्जुमार्ग परिवहन में आ सकती है क्रांति,एमओयू हस्ताक्षरित होने के बाद मुख्यमंत्री ने कहा – 2264 करोड़ रुपए की अनुमानित लागत से बनेगी सात रज्जुमार्ग परियोजनाएं
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर और केन्द्रीय सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी की उपस्थिति में आज नई दिल्ली में हिमाचल प्रदेश में अभिनव परिवहन समाधान के रूप में रज्जू मार्गों के विकास के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग रसद प्रबन्धन लिमिटेड (एनएचएलएमएल) और रज्जू मार्ग एवं तीव्र परिवहन प्रणाली विकास निगम लिमिटेड (आरटीडीसी) हिमाचल प्रदेश के मध्य समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने कहा कि आरम्भ में कांगड़ा, कुल्लू, चम्बा, सिरमौर और बिलासपुर जिलों में 2264 करोड़ रुपये अनुमानित लागत की सात रज्जू मार्ग परियोजनाओं की सम्भाव्यता (फिजिबिलिटी) रिपोर्ट बनाने की संभावनाएं तलाश की जाएंगी।
मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय मंत्री को यह भी अवगत करवाया कि शिमला-मटौर सड़क, पठानकोट-चक्की-मंडी सड़क और चक्की-मंडी-मनाली सड़क पर कुछ महत्वपूर्ण हिस्सों की मरम्मत की शीघ्र आवश्यकता है।
उन्होंने राज्य सरकार द्वारा मंत्रालय को प्रस्तुत की गई नौ उच्च प्राथमिकता वाली सड़कों की अधिसूचना शीघ्र जारी करने का भी आग्रह किया।
मुख्यमंत्री ने मंत्रालय के पास लम्बित विस्तृत परियोजना रिपोर्टों के अनुमोदन के लिए आग्रह किया ताकि इनका कार्य शीघ्र सौंपा जा सके।
ऊर्जा मंत्री सुख राम चौधरी ने पावंटा-लाल ढांग-राजवन-शिलाई-रोहड़ू सड़क पर अपर्याप्त जल निकासी व्यवस्था का मामला उठाया और कहा कि इससे लोगों को असुविधा का सामना करना पड़ रहा है।
केन्द्रीय मंत्री ने राज्य को हर संभव सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया।
मुख्य सचिव राम सुभग सिंह ने चर्चा के दौरान अपने बहुमूल्य सुझाव दिए।
केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग राज्य मंत्री जनरल वी.के. सिंह भी बैठक में उपस्थित थे।
प्रधान आवासीय आयुक्त एस.के. सिंगला मुख्यमंत्री के साथ उपस्थित थे।
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